Introduction to Computer (कंप्यूटर का परिचय )

Introduction to Computer (कंप्यूटर का परिचय )

कंप्यूटर का परिचय (Introduction to computer )

            दफ्तर या फिर स्कूल, कंप्यूटर आज हर जगह मौजूद है। रोजमर्रा के कई काम ऐसे हैं, जिनके लिए हम कंप्यूटर का इस्तेमाल करते है या फिर उससे मिलने वाली सूचनाओं पर निर्भर रहते हैं। कंप्यूटर की मदद से विभिन्न काम जैसे नौकरी की तलाश किसी उत्पाद के बारे में जानकारी हासिल करना, शिक्षा संबंधी कार्य या फिर कहीं घूमने की योजना तैयार करना आसानी से किये जा सकते हैं।

Uses of Computer 

           घर में निजी कंप्यूटर की मदद से आप अपनी चेकबुक का लेखा-जोखा तैयार करने, बिलों का भुगतान, अपनी आय और खर्चा का हिसाब, पैसे स्थांतरित, स्टॉक की खरीदारी और बिकवालों से लेकर अपनी वित्तीय योजनाओं का आकलन जैसे काम आसानी से कर सकते हैं। ए.टी.एम. (ऑटोमेटेड टेलर मशीन) मशीन के ज़रिये लोग पैसा जमा करते या निकाल सकते हैं। किराने की दुकान पर खरीददारी का हिसाब-किताब कंप्यूटर से किया जाता है।

              ऑफिस में लोग कंप्यूटर का इस्तेमाल विज्ञापन और पत्र बनाने, वेतन का हिसाब-किताब करने, सामान आदि की सूची बनाने और कीमतों सहित सामान की सूची तैयार करने के लिए करते हैं। घरों और स्कूलों में कंप्यूटर का इस्तेमाल शैक्षिक कार्यों के लिए किया जाता है। शिक्षक इसको पढ़ाने के लिए उपयोग में लाते हैं। विद्यार्थी अपने असाइमेन्ट पूरा करने, प्रयोगशालाओं और घरों में शोध कार्यों के लिए कंप्यूटर का इस्तेमाल करते हैं।

               लोग कंप्यूटर पर गेम्स खेलकर, गाने सुनकर, सिनेमा देखकर, किताब या पत्रिका पढ़कर, विडियो बनाकर, फोटो को नया रूप देकर या फिर छुट्टियों की योजना बनाकर घंटों अपना मनोरंजन करते हैं। कंप्यूटर के जरिये विश्व के किसी भी कोने की जानकारी मिल जाती है। इससे आपको स्थानीय और राष्ट्रीय समाचार मौसम संबंधी जानकारी, खेलों के स्कोर, स्टॉक के दाम, अपने मेडिकल रिकार्ड, बैंक में जमा राशि की जानकारी और अनगिनत तरह की शैक्षिक सामग्री मिल जाती है।

              लोग कंप्यूटर का इस्तेमाल संचार के साधन के रूप में करते हैं। यह संचार मात्र लिखित रूप तक ही सीमित नहीं है। आधुनिक तकनीक की बदौलत कंप्यूटर के ज़रिये आवाजें, ध्वनियां, विडियो और ग्राफिक्स भी भेजे जा सकते हैं। कंप्यूटर के इस्तेमाल से आप जिस व्यक्ति से संचार कर रहे हैं उसे देख भी सकते हैं। इसके साथ ही अपने मित्रों, परिवारजनों एवं क्लाइट को तस्वीरें तथा विडियो भी भेजी जा सकती हैं कंज्यूमर (उपभोक्ता) अपने कंप्यूटर का इस्तेमाल व्यवसाय में करता है। कर्मचारी किसी दूसरे कर्मचारी व ग्राहकों से संवाद कायम करने में करता है। छात्र अपने सहपाठियों, शिक्षकों और परिजनों से बातचीत करने में करता है। इसके अलावा सुरक्षा बल में कार्यरत लोग अपने दोस्तों और परिजनों से बातचीत करने के लिए भी कंप्यूटर का इस्तेमाल करते हैं। साधारण नोट या संदेश भेजने के साथ ही लोग कंप्यूटर का इस्तेमाल फोटोग्राफ कैलेंडर, जर्नल म्यूजिक और वीडियो के आदान-प्रदान में भी करते हैं। प्रतिदिन नयी तकनीक विकसित होती रहती है। डिजिटल क्राति को हम कैसे काम में लाते है यह पूर्ण रूप से हम पर निर्भर करता है। आज कंप्यूटर हमारे जीवन का एक अहम् हिस्सा बन गए हैं। डिजिटल दुनिया में सफल होने के लिए। कंप्यूटर शिक्षित होना जरूरी है। कंप्यूटर शिक्षित होने का मतलब है कंप्यूटर और इसके इस्तेमाल की जानकारी और समझ ।

कप्यूटर क्या है ?

(What is Computer?)

                 कंप्यूटर एक ऐसा इलैक्ट्रॉनिक उपकरण है जो अपनी मेमोरी में मौजूद निर्देशों के आधार पर काम करता है। यह डाटा (इनपुट) को ग्रहण कर उसे तय नियमों के अनुसार व्यवस्थाबद्ध (प्रोसेस) कर परिणाम निकालता है और साथ हो भविष्य में इस्तेमाल हेतु उसे स्टोर भी करता है।

Computer 

कंप्यूटर से संबंधित कुछ महत्त्वपूर्ण तथ्य (Some important facts related to computer):-

डाटा (Data):- असंगठित व अव्यवस्थित तथ्यों और आंकड़ों का संगठित व व्यवस्थित रूप डाटा कहलाता है। यह आंकड़ों के अलावा अंको, टेक्स्ट, चित्र, ध्वनि आदि हो सकते हैं। डाटा अपने आप में कोई सूचना संप्रेषित नहीं करता है, बल्कि महत्वपूर्ण सूचनाओं को प्रस्तुत करने में काम आता है।

( Types of Data )

 उदाहरण के लिए प्रवेश के समय स्कूल कॉलेज में छात्र द्वारा कोई फॉर्म भरा जाता है, जिसमें तथ्यों के रूप में छात्र का नाम उसके पिता का नाम और पता आदि होता है। इन आकड़ों को एकत्रित करने का मकसद छात्र के रिकार्ड को मेंटेन (सुरक्षित) करना है।

इंफोर्मेशन (Information):- डाटा को इधर-उधर पहुंचाने का रूप ही इफोर्मेशन है। यह डाटा से ज्यादा महत्त्वपूर्ण है। इसी के आधार पर किसी चीज का निर्धारण होता है और निर्णय लिए जाते हैं।

Information 

उदाहरण के लिए मार्कशीट (अंकपत्र) में प्रविष्ट अंक डाटा और पूरी मार्कशीट एक इंफोर्मेशन है जो इसके प्रतिशत इत्यादि बताती है, जिससे पता चलता है कि छात्र पास है अथवा फेल। अर्थात् यह परिणाम बताती है ।

यूजर (User):- वह व्यक्ति जो कंप्यूटर का इस्तेमाल करता है और जिसके द्वारा कंप्यूटर पर सूचनाओं का आदान-प्रदान किया जाता है, वह यूजर कहलाता है।

Computer User 

हार्डवेयर (Hardware):- कंप्यूटर को बनाने में इस्तेमाल किए गए सभी उपकरण हार्डवेयर कहलाते हैं।

Computer Hardware 

सॉफ्टवेयर (Software):- कंप्यूटर प्रोग्रामों का समूह अथवा उसको दिए जाने वाले निर्देश जो हार्डवेयर की कार्यक्षमता बढ़ाते हैं और उसे बताते है कि कोई भी टास्क (काम) किस प्रकार किया जाना है, सॉफ्टवेयर कहलाते हैं।

Software 

हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर एक-दूसरे के पूरक है। बिना सॉफ्टवेयर के कंप्यूटर हार्डवेयर का कोई मतलब नहीं है, इसी प्रकार बिना हार्डवेयर के कोई भी सॉफ्टवेयर नहीं चल सकता है।  hardware और software के combination को firmware भी कहते हैं । ROM एक फर्मवेयर ही है । यह एक हार्डवेयर है और उसमे BIOS नामक प्रोग्राम(SOFTWARE) स्टोर होता है ।

Firmware 

Types of Computer and computing Devices(कंप्यूटर और कंप्यूटिंग डिवाइस के प्रकार): –

पर्सनल कंप्यूटर्स (Personal Computer):-

  एक निजी कंप्यूटर या कहे कि पी.सी. को खास तौर से व्यक्तिगत जुरूरतों को पूरा करने के लिए डिजाइन किया गया है। इन्हें आमतौर पर आई.बी.एम. कम्पैटेबल कंप्यूटर्स कहा जाता है। इनमें कम से कम एक इनपुट उपकरण, एक आउटपुट उपकरण, एक स्टोरेज उपकरण, मेमोरी और प्रोसेसर होता है जिनकी मदद से यह काम करते हैं। प्रोसेसर या फिर माइक्रोप्रोसेसर एक चिप पर निर्मित सेंट्रल प्रोसेसिंग यूनिट है, जो किसी पी.सी. को बनाने का मुख्य आधार है। पर्सनल कंप्यूटर्स ज्यादातर बिजनेस में इस्तेमाल किये जाते हैं और साथ हो घरों में भी यह बेहद लोकप्रिय हैं।पर्सनल कंप्यूटरों की श्रृंखला में इंटेल, आई.बी.एम. और एप्पल मेकिनटोश सर्वाधिक लोकप्रिय है। 

Personal Computer 

              विभिन्न कंपनिया जैसे डेल, एचपी और तोशिबा पीसी compatible कंप्यूटर की बिक्री करती है। पीसी और पीसी compatible कंप्यूटर सामान्यतः विडो ऑपरेटिंग सिस्टम का इस्तेमाल करते हैं। एप्पल कंप्यूटर्स सामान्यत: मेकिटोश ऑपरेटिंग सिस्टम (Mac  O/S) का इस्तेमाल करते हैं।मेकिन्टोश कंप्यूटर्स Apple कंप्यूटर द्वारा वर्ष 1984 में पेश किया गया था। जैसे आईमैक सामान्यतः मेकिन्टोश ऑपरेटिंग सिस्टम पर कार्य करता है।

नोटबुक कंप्यूटर (Notebook Computer):-

               नोटबुक कंप्यूटर को ‘लैपटॉप’ भी कहा जाता है। नोटबुक छोटे आकार और कम वजन वाला कंप्यूटर है जिसे आसानी से एक स्थान से दूसरे स्थान तक ले जाया जा सकता है। ज्यादातर लैपटॉप बैटरी से या फिर बिजली से चलते हैं। लैपटॉप वो सारे काम कर सकता है जो एक आम कंप्यूटर करता है। आम कंप्यूटर के मुकाबले यह महंगा है।

Laptop 

एक लैपटॉप का की-बोर्ड सिस्टम यूनिट पर लगा होता है और इसका मॉनीटर भी सिस्टम यूनिट से ही जुड़ा होता है। लैपटॉप की विभिन्न ड्राइव्स सिस्टम यूनिट में ही लगी होती है। ऐसे यूजर्स को लैपटॉप की ज्यादा जरूरत होती है जिनका काम एक जगह बैठ कर नहीं होता है जैसे बिज़नेस ट्रैवर्ल्स। नोटबुक कंप्यूटर का ही एक रूप है। यह छोटे और हल्के होते हैं। यह पारंपरिक नोटबुक कंप्यूटर के मुकाबले ज्यादा पावरफुल नहीं होते हैं।

स्मार्ट फोन और टैबलेट (Smart Phone or tablet):-

               स्मार्टफोन और टैबलेट में इंटरनेट की सुविधा भी होती है। इसके अलावा इनमें पर्सनल इंफॉर्मेशन मैनेजमेंट (पीआईएम) फक्शन जैसे कैलेंडर, अप्वाइंटमेंट बुक, कैलकुलेटर, एड्रेस बुक और नोटबुक आदि भी होती है। बेसिक फोन की तुलना में स्मार्ट फोन और टैबलेट पर आप इंटरनेट के द्वारा ई-मेल भी पढ़ व कर सकते हैं। 

SmartPhone 
Tablet 

कुछ स्मार्टफोन और टैबलेट  बिना किसी तार की सहायता से दूसरे उपकरणों व कंप्यूटरों से भी जुड़ (कनेक्ट) सकते हैं। इसके अलावा इनमें छोटा मीडिया प्लेयर व कैमरा भी होता है, जिसका इस्तेमाल आप फोटो खींचकर या वीडियो बनाकर उसको तुरंत दूसरों के साथ शेयर भी कर सकते हैं।

कंप्यूटर के भाग (Parts of Computer ):-

कंप्यूटर को चार भागो मे बांटा जाता है जो इस प्रकार हैं:-

1) इनपुट डिवाइस ( input devices):- इसका उपयोग कंप्यूटर को command या इनपुट देने के लिए किया जाता है । इसमे कीबोर्ड, माऊस, वेबकेम, जॉयस्टिक, OCR, OMR, बार कोड रीडर, सकेनर, माइक,  टच पेनल, Digitizer, ट्रैकबाल, लाईट  पेन, MICR, स्मार्ट कार्ड रीडर, बायोमैट्रिक सेन्सर, स्पीच रीकोग्निशन सिस्टम इत्यादि को शामिल किया जाता है ।

Input Devices 

2) सेंट्रल प्रोसेसिंग यूनिट ( Central Processing Unit):- इसका काम कंप्यूटर की सभी कार्यो को करवाने का है । इसमे ALU (अर्थमेटिक ऐण्ड लॉजिकल यूनिट), CU (कण्ट्रोल यूनिट), रजिस्टर, बस इत्यादि को शामिल किया जाता है ।

C  P  U 


3) आउटपुट डिवाइस (Output Devices):-
 इनके द्वारा हमे कंप्यूटर से रिजल्ट प्राप्त होता है । इसमे मॉनिटर, प्रिंटर, प्लॉटर, प्रोजैक्टर, स्पीकर, वीडियो कार्ड, हैड फ़ोन ईत्यादि को शामिल किया जाता है ।


4) स्टोरज यूनिट या मैमोरी यूनिट (Storage unit or memory unit):- 
इनका प्रयोग कंप्यूटर पर डाटा या सूचना को स्टोर करने मे किया जाता है। इसमे प्राइमरी मैमोरी और सेकेंडरी मैमोरी को शामिल किया जाता है ।

A) प्राइमरी मैमोरी मे RAM और ROM को शामिल किया जाता है ।

RAM (रैंडम एक्सैस मैमोरी)
ROM (रीड ओनली मैमोरी )

B) सैकेण्डरी मैमोरी मे HDD(हार्ड डिस्क ड्राइव), SSD(सॉलिड स्टेट ड्राइव), Pen drive, FDD (फ्लोपी डिस्क ड्राइव), CD (कॉम्पैक्ट डिस्क), DVD (डिजिटल वर्सेटाईल डिस्क), टेप ड्राइव, एक्सटर्नल हार्ड डिस्क ड्राइव, क्लाउड स्टोरेज, NAS सर्वर(नेटवर्क अटेचेड स्टोरज) इत्यादि ।

Storage Devices 




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